सादगी से हुई शादी

सभी ने की गई इस शादी की तारीफ की

बिहार के उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी के बेटे उत्कर्ष मोदी एवं कोलकाता निवासी नवलजी केदारनाथ जी वर्मा की बेटी यामिनी वर्मा का विवाह समारोह गणमान्य व्यक्तियों की उपस्थिति में सादगी से सम्पन्न हुआ. शादी के समारोह स्थल पर अतिथियों के लिए सिर्फ चाय और पानी के स्टॉल लगाए गए थे. सभी ने सादगी के साथ की गई इस शादी की तारीफ की. दिन में आयोजित शादी पूरे वैदिक रीति-रिवाज एवं सादगी के साथ संपन्न हुई. उत्कर्ष ने यामिनी को जयमाला पहनाकर रस्म पूरी की.

03.12.2017 को समारोह में वैवाहिक वैदिक मंत्रों का हिन्दी अनुवाद के साथ वाद्ययंत्रों की संगत के साथ प्रस्तुति की गयी.  यह शादी काफी समय से चर्चा में रही।  न तो दहेज लिया गया और न ही बैंड बजा मेहमानों और बारातियों का स्वागत भी नहीं किया गया। शादी में मेहमानों को खाने और नाश्ते के बजाय भगवान का भोग लगाया हुआ ‘प्रसाद’ दिया गया। शादी में गिफ्ट लेने के लिए पहले ही मना कर दिया गया था। सुशील मोदी ने कहा था कि शादी सादगी के साथ होनी है।

मेहमानों को  भेंट की गई विवाह संस्कार के  मंत्रों की पुस्तिका 

सभी मेहमानों को विवाह संस्कार के संस्कृत मंत्रों के हिन्दी अनुवाद की एक-एक पुस्तिका भेंट स्वरूप दी गई. शादी में आम तौर पर बारात लगने, द्वार पूजा और वरमाला के बाद उपस्थित लोग वर-वधू को आशीर्वाद तो देते हैं, परंतु वैवाहिक संस्कारों में उनकी सहभागिता नहीं होती है और वधू पक्ष के परिजन ही इसमें शामिल रहते हैं. लेकिन मंच पर आयोजित इस शादी में उपस्थित सभी लोगों ने वैवाहिक संस्कारों- गणपति पूजन, कलश पूजन, द्वार पूजन, वरमाला, सप्त वचन, सिंदूरपूर्ति, मंगल फेरे आदि को देखा, मंत्रों को सुना तथा समस्त वैवाहिक संस्कारों में सहभागी बने.

पटना के वेटनरी कॉलेज मैदान में आयोजित विवाह समारोह में भाग लेने राष्ट्रपति रामनाथ कोविद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, भाजपा अध्यक्ष अमित शाह और गृह मंत्री राजनाथ सिंह पहुंच तो नहीं पाए, लेकिन इन लोगों ने फोन कर वर-वधू को आशीर्वाद दिया. गणमान्य अतिथियों में बिहार के राज्यपाल सत्यपाल मलिक, पश्चिम बंगाल के राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी, गोवा की राज्यपाल मृदुला सिन्हा और मेघालय के राज्यपाल गंगा प्रसाद, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास, मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री रमन सिंह, हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर, उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव शामिल थे.

लिया गया दहेज़ के विरुद्ध संकल्प 

इस अवसर पर दधीचि देहदान समिति और मां वैष्णो देवी सेवा समिति के स्टॉल पर नेत्रदान, अंगदान तथा बाल विवाह निषेध और दहेजरहित शादी का संकल्प लेने की व्यवस्था की गई थी. जिसमें 175 लोगों ने देहदान और 350 लोगों ने दहेज़ के विरुद्ध संकल्प लिया. सुशील मोदी ने इस अवसर पर कहा कि समाज को दहेज से मुक्त करने का वक्त आ गया है, युवाओं को अब दहेज के विरोध में आगे आना चाहिए.

 

Share
  • Related Posts

    राष्ट्रीय जल पुरस्कार 2025 : विवेकानंद मिशन स्कूल का हुआ चयन

    दाउदनगर (औरंगाबाद) -कार्यालय प्रतिनिधि। जल शक्ति मंत्रालय भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीय जल पुरस्कार 2025 के लिए विवेकानंद मिशन स्कूल को नामित किया गया है। चयन के बाद मंत्रालय की तीन सदस्यीय…

    Share

    जीवन ज्योति डायग्नोस्टिक बेहतर स्वास्थ्य जांच सेवा देने के लिए प्रतिबद्ध

    डेहरी-आन-सोन (रोहतास) कार्यालय प्रतिनिधि। जीवन ज्योति डायग्नोस्टिक शहर के लोगों को बेहतर स्वास्थ्य जांच सेवा देने के लिए प्रतिबद्ध है। कैनाल रोड में स्थित जीवन ज्योति डायग्नोस्टिक एक ही छत…

    Share

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

    You Missed

    अकस व एआईएमआरए द्वारा रक्तदान शिविर का किया गया आयोजन

    अकस व एआईएमआरए  द्वारा रक्तदान शिविर का किया गया आयोजन

    एनएमसीएच ने किया रक्तदान शिविर का आयोजन

    एनएमसीएच ने किया रक्तदान शिविर का आयोजन

    डीएम उदिता सिंह ने सप्ताहिक जनता दरबार का डीआरडीए सभागार में किया आयोजन

    डीएम उदिता सिंह ने सप्ताहिक जनता दरबार का डीआरडीए सभागार में किया आयोजन

    राष्ट्रीय जल पुरस्कार 2025 : विवेकानंद मिशन स्कूल का हुआ चयन

    राष्ट्रीय जल पुरस्कार 2025 : विवेकानंद मिशन स्कूल का हुआ चयन

    एनएमसीएच द्वारा स्वास्थ्य शिविर का आयोजन

    एनएमसीएच द्वारा स्वास्थ्य शिविर का आयोजन

    समेकित बागवानी एवं पशुधन आधारित कृषि अपनाएं, बढ़ाएँ आय और पोषण : डॉ. अनुप दास

    समेकित बागवानी एवं पशुधन आधारित कृषि अपनाएं, बढ़ाएँ आय और पोषण : डॉ. अनुप दास