109 दिव्यांगों को मिले कृत्रिम अंग/ कोरोना : फिर बढ़ रहा प्रकोप/ साइडइफेक्ट का होमियोपैथी में कारगर इलाज

दिव्यांग मजबूत मन से करते हैं अपना बेहतर निर्माण : डा.वर्मा

सासाराम (रोहतास)-सोनमाटी संवाददाता। सामाजिक संस्थाओं जयपुर के श्रीभगवान महावीर विकलांग सहायता समिति, सासाराम के लायंस क्लब, टीम सबल और अर्पण ट्रस्ट के सौजन्य से संतपाल स्कूल के रोबोटिक भवन में आयोजित शिविर में दिव्यांगों को मुफ्त कृत्रिम अंग प्रदान किया गया। शिविर समारोह को संबोधित करते हुए प्रसिद्ध शिक्षाविद और लायंस क्लब इंटरनेशनल के पूर्व जिलापाल डा. एसपी वर्मा ने कहा कि परोपकार मनुष्य का सबसे बड़ा धर्म है। कहा कि इन्सान की ताकत उसके शरीर से कहीं उसके मन-मस्तिष्क में होती है, आत्मा में होती है, विचार में होती है और विचार मरता नहीं है। इसलिए दिव्यांग भले ही शारीरिक तौर पर कमजोर हो गए हों, मगर अपने मजबूत मन और जिजीविषा की बदौलत वह अपना निर्माण दूसरों से कहीं बेहतर करते हैं। कहा कि रोहतास जिला के सामाजिक इतिहास में अपनी तरह का यह पहला शिविर है, जिसका आयोजन प्रयोग के तौर पर किया गया। इसके सफल परिणाम से सामाजिक कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ा है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि रंजन कुमार सिंह (संयुक्त सचिव, वित्त विभाग), नई दिल्ली ने कहा कि रोहतास जिला में उनका जन्म हुआ, जिसकी धरती पर टीम सबल और लायंस क्लब द्वारा यह उल्लेखनीय कार्य किया गया। हर प्राणी का जीवन संघर्षमय है। जन्म से मृत्यु तक की जीवन-यात्रा संघर्ष ही है। साहसी व्यक्ति इसका सामना हौसले से करते है।
109 दिव्यांगों को दिए गए कृत्रिम अंग :
शिविर में रोहतास-कैमूर जिलों के दिव्यांगों का चिकित्सकीय परीक्षण कर 109 का चयन कर उन्हें विभिन्न कृत्रिम अंग दिए गए। कार्यक्रम का मंच संचालन लायंस क्लब आफ सासाराम के अध्यक्ष और संतपाल स्कूल के प्रबंध निदेशक रोहित वर्मा ने किया। रोहित वर्मा ने लायंस क्लब, अर्पण ट्रस्ट, टीम सबल और श्रीभगवान महावीर विकलांग सहायता समिति के पदाधिकारियों-सदस्यों को साधुवाद दिया। अंत में धन्यवाद-ज्ञापन अर्पण ट्रस्ट के अध्यक्ष रितेश सिंह और टीम सबल के सौरभ उपाध्याय ने किया। कार्यक्रम में जयपुर से डा. हरपाल सिंह, लायंस क्लब के सचिव अभिषेक राय, कोषाध्यक्ष पवन कुमार प्रियम, पीआरओ गौतम कुमार, टीम सबल के धर्मेंद्र भाई, विवेक सिंह, विकास तिवारी, विशाल गुप्ता, गुंजन सिंह, रविशंकर पाण्डेय, सौरभ उपाध्याय, अर्पण संस्था के आरके सिंह, नेहा सिंह, बुशरा खान, स्नेहा कुमारी, निधि कुमारी आदि के साथ संतपाल स्कूल के शिक्षक-शिक्षिकाओं ने भी सक्रिय सहयोग किया।

कोरोना : दुनिया में 30 लाख और बिहार में 1600 से अधिक मौत

दिल्ली/पटना/डेहरी-आन-सोन (रोहतास)-सोनमाटी समाचार नेटवर्क। कोरोना से अब तक दुनियाभर में मरने वालों की संख्या 30 लाख के करीब पहुंच चुकी है। भारत में इससे मरने वालों की संख्या एक लाख 68 हजार से अधिक हो चुकी है। बिहार में मौत की संख्या 1600 से ऊपर जा चुकी है। बिहार में 10 अप्रैल को छह कोरोना मरीजों की मौत की पुष्टि की गई। दुनियाभर में 13.5 करोड़ से अधिक लोग कोविड-19 के शिकार बने, जिनमें 7.65 करोड़ लोग इलाज के बाद ठीक हो गए। भारत में इसके शिकार बने एक करोड़ 32 लाख से अधिक लोगों में एक करोड़ 20 लाख से अधिक लोग ठीक हो गए। बिहार राज्य में कोरोना के 2 लाख 79 हजार 473 संक्रमितों की पहचान हुई, जिनमें 2 लाख 65 हजार 870 मरीज इलाज के बाद स्वस्थ हो चुके हैं। राज्य में अबतक 2 करोड़ 44 लाख 70 हजार 942 सैम्पल की कोरोना जांच की जा चुकी है।
बिहार में फिर बढ़ रहा कोरोना का प्रकोप :
बिहार में फिर कोरोना का प्रकोप बढ़ रहा है। 10 अप्रैल को एक दिन में 3469 नए कोरोना संक्रमितों की पहचान हुई। जबकि पिछले साल एक दिन में 15 अगस्त 2020 को राज्य में 3536 नए संक्रमितों की पहचान की गई थी। 10 अप्रैल को 95112 सैम्पल की कोरोना जांच की गई। राज्य में कोरोना के सक्रिय मरीजों की संख्या 11998 है। स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, नए कोरोना संक्रमितों में पटना में सर्वाधिक 1431, मुजफ्फरपुर में 185 और गया में 310 की पहचान की गई। भागलपुर में 97, औरंगाबाद में 93, पूर्णिया में 87, बेगूसराय में 80, जहानाबाद में 77, भोजपुर में 74, लखीसराय में 70, सारण में 62, सीवान में 57, वैशाली में 51, मुंगेर में 51, अरवल में 51, दरभंगा में 50, सहरसा में 50, कटिहार में 49, गोपालगंज में 44, पश्चिमी चंपारण में 43, नवादा में 40, सीतामढ़ी में 36, रोहतास में 35, पूर्वी चंपारण में 33, मधेपुरा में 32, कैमूर में 31, बक्सर में 30, किशनगंज में 29, अररिया में 27, नालंदा में 25, समस्तीपुर में 22, मधुबनी में 20, बांका में 20, खगडिय़ा में 17, जमुई में 16, सुपौल में 11 नए कोरोना संक्रमितों की पहचान हुई। शेष जिलो में 10 से कम नए संक्रमित पाए गए।

कोरोना आफ्टर-साइडइफेक्ट खत्म करने में होमियोपैथी कारगर

दाउदनगर (औरंगाबाद)-निशान्त राज । कोविड-19 के एलोपैथी इलाज निसंदेह रोग से मुक्ति दिलाने में सफल रही है, मगर कोरोना मरीजों में कोविड-19 के दुष्प्रभाव को या कहें कि साइड इफेक्ट को कम करने में बहुत कारगर नहीं रही है। कोरोना मरीजों में उपचार के दौरान मानसिक अस्थिरता, स्वादहीनता, अधिक थकावट, नींद नहीं आने, गंध महसूस नहीं होने, भूख नहीं लगने जैसी शिकायत आम तौर पर पाई जा रही हैं। इस तरह की साइड इफेक्ट का सटीक निदान होमियोपैथी के तरीके से संभव है। यह दावा करते हुए ढाई दशकों से औरंगाबाद जिला के दाउदनगर के गरीब ग्रामीण इलाके में होमियोपैथी पद्धति के जरिये चिकित्सकीय सेवा कर रहे डा. मनोज कुमार ने ‘सोनमाटीडाटकाम‘ को बताया कि होमियोपैथी में अब इसकी एडवांस और नैनो तकनीक के जरिये इलाज किया जा रहा है, जो आयुष मंत्रालय के दिशा-निर्देश और निर्धारित मानक के अनुरूप है। होमियोपैथी की एडवांस तकनीक से रोग स्थाई तौर पर जड़ से समाप्त हो जाता है। पिछले दिनों मुंह के कैैंसर से पीडि़त एक ड्राइवर को रोगमुक्त कर, बांझ समझी जाने वाली महिला को संतान वाली बनाकर और बड़े अस्पतालों से इलाज कराकर थक चुके सेना के धावक के घुटना के दर्द-सूजन को खत्म कर ग्रामीण इलाके में चर्चा का विषय बने होमियोपैथी चिकित्सक डा. मनोज कुमार हर रविवार को जटिल रोगों के गरीब मरीजों को निशुल्क देखते और चिकित्सकीय सलाह देते हैं।
डा. मनोज कुमार ने बताया है कि होमियोपैथी चिकित्सा में मरीज की शारीरिक, मानसिक, पारिवारिक स्थिति को जानना-समझना जरूरी होता है, तभी सटीक इलाज संभव है। मरीज को चिकित्सक से खुलकर खाने-पीने, सोने, जगने आदि आदतों और घर-परिवार की दिनचर्या के बारे में बताना चाहिए। होमियोपैथी में लगभग शरीर के हर रोग का उपचार है। रोग के कारण को चिह्निïत नहीं कर पाने के कारण उचित दवा का चयन नहीं हो पाता है। अगर होमियोपैथी इलाज से कोई रोग ठीक नहीं हो पा रहा है तो इसका अर्थ है कि उस रोग के होने का कारण सामने नहीं आ सका है। उनका कहना है कि बेशक एलोपैथी दवा तुरंत राहत देती है, मगर होमियोपैथी रोग को जड़ से खत्म करने का काम करती है। व्यक्ति को छोटी लगने वाली बीमारी या व्याधि के प्रति सचेत रहना चाहिए। जैसेकि अगर सामान्य तौर पर होने वाली खांसी-बुखार में सतर्क नहीं रहा जाए और उचित उपचार नहीं किया जाए तो आगे चलकर यह अस्थमा और तपेदिक में तब्दील हो सकता है।

  • Related Posts

    टीबीटी 2024 अवार्ड के लिए नौ शिक्षकों को किया गया चयन

    दाउदनगर (औरंगाबाद ) कार्यालय प्रतिनिधि। जिले के सरकारी स्कूलों के नौ शिक्षकों का द बिहार टीचर्स-हिस्ट्री मेकर्स टीबीटी के द्वारा राज्य स्तरीय शिक्षक सम्मान के लिए चयन किया गया है।…

    अनुश्रवण समिति की बैठक में राशन वितरण की समीक्षा

    डेहरी-आन-सोन (रोहतास) -कार्यालय प्रतिनिधि।  अनुमंडल सभागार में अनुश्रवण समिति की बैठक  शुक्रवार को एसडीएम सूर्य प्रताप सिंह की अध्यक्षता में हुई।  जिसमें राशन कार्ड बनाने व राशन के सुचारु रूप…

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

    You Missed

    पटना जीपीओ की स्थापना के 107 वर्ष पूर्ण होने पर जारी हुआ स्टाम्प

    पटना जीपीओ की स्थापना के 107 वर्ष पूर्ण होने पर जारी हुआ स्टाम्प

    सोनपुर मेला में एक महीने तक चलने वाले “फोटो प्रदर्शनी सह जागरुकता अभियान” का हुआ शुभारंभ

    सोनपुर मेला में एक महीने तक चलने वाले “फोटो प्रदर्शनी सह जागरुकता अभियान” का हुआ शुभारंभ

    कार्यालय और सामाजिक जीवन में तालमेल जरूरी : महालेखाकार

    व्यावसायिक प्रतिस्पर्धा में हुई थी आभूषण कारोबारी सूरज की हत्या

    व्यावसायिक प्रतिस्पर्धा में हुई थी आभूषण कारोबारी सूरज की हत्या

    25-26 नवंबर को आयोजित होगा बिहार संवाद कार्यक्रम

    25-26 नवंबर को आयोजित होगा बिहार संवाद कार्यक्रम

    विधान परिषद के सभागार में ‘सुनो गंडक’ का हुआ लोकार्पण

    विधान परिषद के सभागार में ‘सुनो गंडक’ का हुआ लोकार्पण