डेहरी-आन-सोन (रोहतास)-कार्यालय संवाददाता। विश्व एडस दिवस पर जमुहार स्थित गोपालनारायण सिंह विश्वविद्यालय परिसर के नारायण इंस्टीट्यूट आफ फार्मेसी के (एनआईएफ) के छात्र-छात्राओं ने एड्स के विरोध में जागरूकता के लिए रैली निकाली। एड्स के बचाव के लिए सतर्कता उपायों के बारे में पोस्टर और नारों के जरिये जानकारी दी गई।
एनआईएफ के प्राचार्य भुवनेश्वर त्रिपाठी के नेतृत्व में निकाली गई इस रैली में कालेज के कई स्टाफ ने भी भाग लिया।
रैली के संयोजन में एनआईएफ के सहायक अध्यापकों रूचि सिंह, अमरेन्द्र यादव और राज राजेश्वर सिंह ने सहयोग किया।
क्यों होता है एड्स और क्या हैं इसके आरंभिक लक्षण
जमुहार गांव और पास-पड़ोस के गांवों में भी जाकर एनआईएफ के विद्याथिर्थयों ने एड्स के लक्षण और इससे बचने के उपाय के बारे में बताया। बताया गया कि एड्स रोग एचआईवी संक्रमण के कारण होता है। यह संक्रमण असुरक्षित यौनक्रिया यानी बिना कंडोम एक से अधिक स्त्री-पुरुष से यौन-संसर्ग के कारण होता है। इसके अलावा संक्रमित खून चढ़ाने, संक्रमित खून का उपयोग करने, एक ही सूई का इस्तेमाल विभिन्न लोगों में करने से भी एचआईवी संक्रमण का फैलाव होता है।
बुखार, ठंड, पसीना, भूख न लगना, वजन घटना, उल्टी, थकान, गले में खराश, दस्त, खांसी, सांस लेने में समस्या शरीर पर चकता या त्वचा रोग की समस्या आदि एचआईवी संक्रमण के लक्षण हो सकते हैं।
पूरी दुनिया में महामारी का रूप ले चुका है एचआईवी संक्रमण
एचआईवी संक्रमण ने पूरी दुनिया में महामारी जैसा रूप ले लिया है। पूरी दुनिया में 369 लाख लोग एचआईवी से संक्रमित हैं। भारत सरकार की ओर से जारी आंकड़े के अनुसार, भारत में एचआईवी संक्रमित लोगों की संख्या 21 लाख है। यह एचआईवी संक्रमण की वह संख्या है, जो अस्पतालों या चिकित्सकों पास गए मरीजों में जांच के बाद पाया गया। इसमें ग्रस्त मरीज जिनकी जांच नहीं हुई, वह संख्या शामिल नहीं है।
विश्व के आधिकारिक तौर पर घोषित आठ दिवसों में विश्व एड्स दिवस शामिल है। इसीलिए इसके प्रति लोगों को जागरूक बनाने के लिए पिछले 30 सालों से लगातार विश्व एड्स दिवस मनाया जाता रहा है। हर साल कोई न कोई थीम (विषयवस्तु) तय की जाती है। इस साल (2018) की थीम है- जानें अपनी स्थिति।
(रिपोर्ट व तस्वीर : भूपेन्द्रनारायण सिंह, पीआरओ, एनएमसीएच)